साहित्य लेखन व उपाधि मिलना गौरव की बात है: डाँ. पाठक.

बिलासपुर I तुलसी साहित्य अकादमी की प्रांतीय इकाई एवं हिंदी विभाग, शासकीय जे.पी. वर्मा स्नात्तकोत्तर महाविद्यालय बिलासपुर के संयुक्त तत्त्वावधान में डाँ. आनंद कश्यप द्वारा संपादित “विकलांग विमर्श : विविध सोपान” एवं डाँ. मनोरमा अग्रवाल द्वारा लिखित “इक्कीसवीं सदी का जहर : कोरोना का कहर” ग्रन्थ का विमोचन तथा थावे विद्यापीठ पटना द्वारा विद्यासागर से विभूषित डाँ. संगीता परमानद एवं डाँ. प्रीति प्रसाद को तथा विद्यावाचाल्पति से अलंकृत डाँ. बजरंग बली शर्मा, डाँ. ए.के. यदु, डाँ. मनोरमा अग्रवाल, डाँ. धनेश्वरी सोनी को प्रख्यात साहित्यकार व भाषाविद् डाँ. विनय कुमार पाठक पूर्व अध्यक्ष छत्तीसगढ़ राजभाषा आयोग के मुख्य आतिथ्य एवं डाँ. श्यामलाल निराला, प्राचार्य, शासकीय जे.पी. वर्मा स्नात्तकोत्तर महाविद्यालय की अध्यक्षता में सोत्साह संपन्न हुआ I

विमोचन एवं सम्मान-समारोह के बाद प्रमुख अतिथि की आसंदी से उद्बोधित उद्गार के उपक्रम में डाँ. विनय कुमार पाठक ने कहा कि इक्कीसवीं सदी के प्रथम दशक की दस्तक के साथ अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद् ने जिस विकलांग-विमर्श का प्रवर्तन किया, उसे राष्ट्रीय स्तर पर ख्याति उपलब्ध हुयी है I इसी कड़ी में डाँ. आनंद कश्यप द्वारा संपादित विमोच्य ग्रन्थ का महत्वपूर्ण स्थान है I उन्होंने आगे कहा कि बिलासपुर की विभूतियों को उनके उल्लेखनीय साहित्यिक अवदान के लिए जगन्नाथपुरी के दीक्षांत-समारोह में विद्यासागर (डी.लिट्) व विद्यावाचस्पति (पी-एचडी) की उपाधि हस्तगत हुयी, वह गौरव का विषय है I

कार्यक्रम अध्यक्ष डाँ. श्यामलाल निराला ने इस समारोह की सराहना करते हुए अपने सारगर्भित संबोधन में कहा कि इस आयोजन से हमारे महाविद्यालय के शोधार्थियों में नव-चेतना जागृत होगी I समारोह को विशिष्ट अतिथि डाँ. मदन मोहन अग्रवाल, महामंत्री, राष्ट्रीय विकलांग चेतना परिषद् तथा महाविद्यालय हिंदी विभाग प्रमुख डाँ. श्रीमती जयश्री शुक्ल ने भी संबोधित किया I कार्यक्रम का सफल संचालन डाँ. राघवेन्द्र दुबे, तुलसी साहित्य इकाई के प्रांतीय अध्यक्ष ने किया व आभार व्यक्त डाँ. श्रीमती परमजीत पांडेय ने किया I

इस समारोह में नगर के अनेक साहित्यकारों, महाविद्यालय के प्राध्यापकगण, विद्यार्थियों सहित प्रमुख रूप से डाँ. गिरधारी लाल अग्रवाल, डाँ. विवेक तिवारी, श्रीमती संगीता बनाफर, डाँ. अनिता सिंह, बालगोविन्द अग्रवाल, डाँ. विश्वनाथ कश्यप, डाँ. अन्जनी तिवारी, डाँ. श्रीमती अर्चना शर्मा, उमाशंकर अग्रवाल, श्री राजेश सोनार, श्री दीनदयाल यादव, दिनेश्वर राव जाधव, इंजी. एस.के.सोनी, श्री किशोर परमानंद आदि प्रमुख थे |

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *